कई लोग होते है जिनके पास धन और संपत्ति की कोई कमी नहीं होती है एवं वो धर्म ग्रंथो एवं लक्ष्मि जी के पूजा को दकियानूसी एवं पुरानी बातें मानते है| ऐसे लोग लक्ष्मि जी के प्रकोप से ज्यादा दिन तक बच कर नहीं रह सकते है| जैसे की लक्ष्मि जी अपने भक्तो को धनवान बनाती है वैसे ही उनकी पूजा एवं धार्मिक कार्यो को दकियानूसी मानाने वालो को कंगाल भी बना देती है| Continue reading
Month: July 2016
हम सभी कर्म करते है सफलता के लिए एवं अपने कार्य की पूर्ति या किसी मनचाहे वस्तु की प्राप्ति के लिए| परंतु ऐसा बहुत ही काम होता है की सभी को सफलता प्राप्त हो कई लोग सफल हो जाते है कई लोग नहीं| कहावत भी है की कर्म किये जा फल की इच्छा मत कर पर ऐसा करना कोई नहीं चाहता सभी सफलता चाहते है| कल कामिका एकादशी है| अगर आप नीचे बताये गए ये ११ उपये करते है तो आपको सफलता अवश्य मिलेगी|
सम्मोहन शक्ति एवं धन प्राप्ति ये दो ऐसी चीजे है जिसके पीछे वर्तमान का हर एक युवा लगा हुआ है| सिर्फ युवा ही नहीं हर एक इंसान ये शक्तिया प्राप्त करना चाहता है| इन शक्तियों के बारे में रावण-संहिता में विस्तार से लिखा गया है| हम सभी अभी तक रावण को एक बुरे इंसान एवं राक्षस प्रवत्ति का ही मानते है परंतु रावण एक बहुत ही बड़ा विध्वान था जिसने शिव जी को अपनी तपस्या से कई बार प्रसन्न किया| रावण ने ज्योतिष-तंत्र के लिए एक वृहद शास्त्र का लेखन किया एवं उसमे सभी शक्तियों की प्राप्ति के उयाये लिखे है|
ज्योतिष शास्त्र के अंतर्गत मानव जीवन से जुड़ी हर वस्तु को किसी न किसी ग्रह से जोड़ा गया है, एवं मनुष्य के शरीर के सभी अंगो को कुंडली के ग्रहो से जोड़ा गया है| हमारे शरीर के भाग कुंडली के अलग अलग भावो से सम्बन्ध रखते है| इसलिए जो भी वास्तु हम उस भाग में धारण करते है उस से हमारे भाग्य पर असर होता है वो अच्छा भी हो सकता है एवं बुरा भी|
हम सभी जानते है की सावन के इस पवित्र महीने मे शिव जी को प्रसन्न करना बहुत ही आसान होता है| शिव जी को कुछ वस्तुए अत्यंत प्रिय है जिनमे उनका त्रिशूल, डमरू एवं रुद्राक्ष शामिल है| रुद्राक्ष के बारे में हम सभी जानते हैं। भगवान शिव इसे आभूषण के रूप में पहनते हैं। रुद्राक्ष के बिना महादेव का श्रंगार ही अधूरा माना जाता है। शिवपुराण की विद्येश्वर संहिता में रुद्राक्ष के 14 प्रकार बताए गए हैं। एकमुखी रुद्राक्ष धारण करने वाला कभी गरीब नहीं होता, उस पर मां लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है, ऐसा शिवपुराण में लिखा है।
मेहनत करने के बाद भी सफलता न मिलने से सभी परेशान रहते है और अपने भाग्य को कोसते है| ये सब होता है आपकी कुंडली में मौजूद ग्रह-दोषो की वजह से जो हमारी सफलता के आड़े आते रहते है और बाधाये उत्पन्न करते है| यदि कुंडली में कोई ग्रह दोष हो तो कार्यों में सफलता नहीं मिल पाती है और धन की कमी का भी सामना करना पड़ता है। ज्योतिष के अनुसार शिवजी के उपायों से भी ग्रहों के दोष दूर किए जा सकते हैं।
कावड़ यात्रा मतलब शिव भक्तो की आस्था एवं मस्ती की यात्रा| यह यात्रा सावन के महीने में की जाती है क्योंकि सावन भगवान शिव की भक्ति का महीना है। इस महीने में विभिन्न माध्यमों से भगवान शंकर को प्रसन्न किया जाता है। सावन के महीने में भगवान शंकर के जलाभिषेक का भी विशेष महत्व है। जलाभिषेक से शिव प्रसन्न होते हैं और भक्तों की मनोकामना पूरी करते हैं।
श्रावण का महीना मतलब खुशियों, त्योहारों की शुरुआत एवं हिन्दू धर्म में शिव जी के व्रतों की शुरुआत | श्रावण मतलब सावन का महीना ऐसा होता है जिसमे शिव जी को आसानी से प्रशन्न किया जा सकता है| सावन के महीने में विशेष रूप से शिव जी की पूजा अर्चना की जाती है| कहा जाता है कि शिवजी को प्रसन्न करने के लिए सावन माह में उनका विशेष पूजन करना चाहिए| इस पूजा-अर्चना के दौरान आपको उनसे मनचाहा वरदान पाने के लिए कुछ खास चीजों को अर्पण करना चाहिए|
वर्तमान जगत में लोग सुबह से लेकर शाम तक मेहनत किये जा रहे है सिर्फ यह सोच कर की कुछ पैसे कमाए जाये ताकि परिवार का भरण पोषण हो सके तो कुछ लोग अमीर बनने और ढेर सारा पैसा कमाने की जद्दोजहद में दिन रात एक कर रहे है ताकि ऐशो आराम की जिंदगी जी सके| कुछ लोग मेहनत करके सफल हो रहे है तो कुछ लोग शॉर्टकट ढूढते रहते है पर ऐसा कोई शॉर्टकट है ही नहीं अगर आपको जीवन में सफल होना है पैसा प्राप्त करना है तो मेहनत करनी ही होगी|
आप सब लोग भली-भाँति यह बात जानते हैं कि प्रत्येक जातक की जन्म कुंडली में यहाँ कुछ शुभ योगों का निर्माण होता है तो वहीं कुछ अषुभ योगों का भी निर्माण होता है जो ग्रहों की चाल से समय-समय पर जातक को शुभ एवं अषुभ फल प्रदान करते हैं| शनि ग्रह धीमी गति, लंगड़ापन, आयु शूद्रत्व, सेवक, चाकरी, पुराने घर, खपरैल, बंधन, कारावास, जीर्ण-शीर्ण अवस्था आदि का कारक ग्रह है जबकि चंद्रमा माता, स्त्री, तरल पदार्थ, सुख, सुख के साथ, कोमलता, मोती, मान-सम्मान, यश आदि का कारकत्व रखता है। Continue reading →
विवाह की बात आते ही व्यक्ति अपने जीवनसाथी के बारे में स्वपन सजोने लगता है की वो कैसी होगी रंग रूप सौंदर्यता एवं उसके विचार परन्तु कई एस चीजे होती है जिन्हे अनदेखा कर दिया जाता है जिस वजह से विवाह पश्चात परेशानियां आती है| आज हम आपको बताएंगे कुछ ऐसी चीजे जिनसे आप एक अच्छी एवं भाग्यशाली जीवन संगनी को पहचान सकते है|
सोमवार को आने वाली अमावस्या के दिन किया गया एक छोटा सा उपाय आपके जीवन मे लाखो खुशिया ला सकता है । आप सबको पता है सोमवार को अमावस्या है । सोमवार को पड़ने वाली सोमवती अमावस्या का हिन्दु धरम मे बहुत महत्व है । जो इंसान अपने जीवन में , अपने काम-कारोबार, घर-परिवार, संतान, कर्ज़, बीमारी ,मानसिक , चिंता, क्लेश, से तंग है ।जो मेहनत करने के बाद भी सफल नही होते। वो इंसान ये छोटा सा उपाय करे ओर अपना जीवन सफल बनाए । Continue reading →

