वास्तु के अनुसार जानिए की क्या आपकी राशि के लिए भी दक्षिण दिशा अशुभ है

Home-Vastu

वास्तु के सिद्धांतों के अनुसार सकारात्मक दिशा के द्वार गृहस्वामी को लक्ष्मी (संपदा), ऐश्वर्य, पारिवारिक सुख एवं वैभव प्रदान करते हैं जबकि नकारात्मक मुख्य द्वार जीवन में अनेक समस्याओं को उत्पन्न कर सकते हैं। वास्तुशास्त्र में दक्षिण दिशा का द्वार शुभ नहीं माना जाता है। इसे संकट का द्वारा भी कहा जाता है जबकि, पूर्व दिशा को समृद्घि का द्वार कहा जाता है।

वास्तु शास्त्र के मुताबिक घरों के द्वार की स्थिति के आधार पर सुख-संपत्ति, समृद्धि, स्वास्थ्य का अनुमान अलाया जा सकता हैं। प्राचीन समय में बड़े आवासों, हवेलियों और महलों के निर्माण में इन बातों का विशेष ध्यान रखा जाता था। दिशाओं की स्थिति, चैकोर वर्ग वृत्त आकार निर्माझा और वास्तु के अनुसार दरवाजों का निर्धाश्रण होता था।

तो आइये जानते है की आपकी राशि के लिए क्या फल देगी दक्षिण दिशा –

मेष

यदि आपका मेष लग्न है तो दक्षिण मुखी भवन या प्लाट आपके लिए अत्यंत शुभ है। यहाँ आपका व्यक्तित्व का विकास होगा।

वृष

वृष लग्न है तो दक्षिण मुखी भवन अशुभ है वहां खर्चे अस्पताल थाने के चक्कर लगाने पड़ सकते है।

मिथुन

मिथुन लग्न वालो को भी अत्यंत अशुभ होते है ऐसे भवन इसमें जातक को कष्टकारी रोग विवाद और बुरी स्थितियो का सामना करना पड़ सकता है।

कर्क

कर्क लग्न वालो के लिए दक्षिण मुखीं भवन स्वर्ण वत है अत्यंत शुभ यहाँ इन्हें मान सम्मान नौकरी प्रमोशन संतान सभी प्राप्त हो सकते है।

सिंह

सिंह लग्न वालो के लिए भी दक्षिण मुखी भवन भाग्योदय करक है।अत्यंत शुभ है।अधिकतर ऐसे जातको को एक से अधिक भवन की प्राप्ति हो जाती है।

कन्या

कन्या लग्न वालो को ऐसे भवन जो दक्षिण मुखी हो अत्यंत मृत्युतुल्य कष्ट देते है। घर मैं किसी को रक्त दोष दुर्घटनाये कोर्ट कचहरी जाना पड़ता है।

तुला

तुला लग्न वालो का जीवन माध्यम चलता है ना कभी ज्यादा गिरते है और ना ही उन्नति कर पते है।

वृश्चिक

वृश्चिक लग्न वालो को दक्षिण मुखी भवन अत्यंत शुभ है इन्हें सामाजिक मान सम्मान तथा आत्मबल ऊर्जा की वृद्धि होती है।

धनु

धनु लग्न वाले इस भवन मैं निवास करे तो निस्संतान को संतान उत्तपत्ति होती है।संतान के विकास मैं ज्यादा सहायक है।अगर जातक शिक्षण काल मैं हो तो उच्च शिक्षा प्राप्त करता है।

मकर

मकर लग्न वालो के लिए आर्थिक तो अच्छे होते है दक्षिण मुखी भवन परंतु स्वयं का विकास रोकते है।

कुम्भ

कुम्भ लग्न वालो के लिए व्यर्थ का संघर्ष बढ़ते है ऐसे भवन मैं हाँ संघर्ष का परिणाम सुखद अवश्य होता है पर जीवन के अंतिम चरण मैं।

मीन

मीन लग्न वालो के लिए दक्षिण मुखी भवन धन करक एवम् भाग्योदय करक होते है इन्हें ईश्वर की कृपा भी प्राप्त होती है इन भवनों मैं।

अतः किसी भी मकान भूमि भवन को लेते समय वास्तु परिक्षण के साथ ही कुंडली विवेचन भी करवाये अंक परिक्षण भी।

अगर आपका घर पहले से ही दक्षिण दिशा में है तो आपको तुरंत ही एक वास्तु विशेसञ द्वारा वास्तु पूजा की जरुरत है| वास्तु पूजा, भूमि पूजा एवं कुंडली विवेचन के लिए कॉल करें – +91 9009444403